संवाददाता: पंकज तिवारी
चित्रकूट : जनपद में अवैध गुटके की भरमार , जिम्मेदार मौन
चित्रकूट में नकली गुटखे का धंधा : जिम्मेदार विभागों की लापरवाही से बढ़ रही समस्या
चित्रकूट: नकली गुटखे का जाल फैलता जा रहा है। नकली गुटखे का कारोबार चरम पर चित्रकूट जिले के कई इलाकों में नकली गुटखा धड़ल्ले से बिक रहा है। राजश्री , कमलापसंद जैसे प्रसिद्ध ब्रांडों के नाम पर नकली और हानिकारक गुटखे खुलेआम बेचे जा रहे हैं। इन नकली उत्पादों में तंबाकू की मिलावट होती है, जो लोगों की सेहत के लिए बेहद खतरनाक है। खासतौर पर शिवरामपुर, भरतकूप, सीतापुर और राजापुर जैसे इलाकों में यह कारोबार बेखौफ जारी है। जिम्मेदार विभागों की नाकामी जिले में नकली गुटखा बेचने वालों के खिलाफ कार्रवाई का नामोनिशान नहीं दिख रहा। फूड सेफ्टी विभाग की इस मुद्दे पर चुप्पी और लापरवाही की वजह से नकली गुटखा का व्यापार और फल-फूल रहा है। ऐसा लगता है जैसे यह विभाग कुंभकर्ण की नींद सो रहा है। स्थानीय लोगों का आरोप है कि विभाग की मिलीभगत के कारण यह धंधा इतने बड़े स्तर पर चल रहा है।
बांदा से हो रही सप्लाई नकली गुटखे की सप्लाई बांदा जिले से चित्रकूट में की जा रही है। वहां से गुटखा बड़े पैमाने पर लाया जाता है और फिर जिले के अलग-अलग हिस्सों में बेचा जाता है। इस अवैध व्यापार से जुड़े लोग बिना किसी डर के इस काम को अंजाम दे रहे हैं। स्थानीय जनता की चिंता चित्रकूट के लोग इस समस्या से बेहद परेशान हैं। नकली गुटखे के सेवन से कई लोगों की सेहत बिगड़ रही है, लेकिन इसके बावजूद प्रशासन की ओर से कोई ठोस कदम नहीं उठाया जा रहा है। जनता ने मांग की है कि प्रशासन जल्द से जल्द इस धंधे पर रोक लगाए और जिम्मेदार अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई करे।क्या कहता है कानून? नकली गुटखा बेचना और उसके सेवन को बढ़ावा देना कानूनी रूप से अपराध है। फूड सेफ्टी एंड स्टैंडर्ड्स एक्ट के तहत ऐसे मामलों में कड़ी सजा का प्रावधान है। लेकिन चित्रकूट में इस कानून की धज्जियां उड़ाई जा रही हैं। अब सवाल उठता है कि प्रशासन कब जागेगा और कब इस अवैध धंधे पर लगाम कसेगा? समस्या का हल कब? अब देखना यह है कि प्रशासन कब तक इस मुद्दे पर ध्यान देता है और नकली गुटखे के इस कारोबार पर कड़ी कार्रवाई करता है?