संवाददाता: एम.एस वर्मा, इटावा ब्यूरो चीफ, सोशल मीडिया प्रभारी, 6397329270
इटावा में सर्राफा कारोबारी के परिवार में चार लोगों की हत्या के मामले में पुलिस ने सर्राफा कारोबारी पर हत्या का मुकदमा दर्ज करते हुए जेल भेज दिया है। पत्नी के भाई की तहरीर पर मुकदमा दर्ज किया गया है। आर्थिक तंगी, व्यापार में घाटा होने और भाइयों के ताने से परेशान होकर उसने सामूहिक आत्महत्या का प्लान बनाया, लेकिन सफल नहीं हुए।
इसके बाद कारोबारी ने पहले सभी को नींद की गोली खिलाई। इसके बाद रस्सी से गला घोंटकर सभी को मार डाला। पुलिस को व्हाट्सएप पर सुसाइड नोट भेज कर कारोबारी मुकेश वर्मा स्टेशन पहुंच गया। वहां ट्रेन के आने पर पटरी पर लेट गया, लेकिन किसी कारणवश में बच गया।
परिवार के लोगों के सुनता था ताने
एसएसपी संजय कुमार वर्मा ने बताया हत्यारोपी मुकेश वर्मा को कल पुलिस ने हिरासत में ले लिया था। इससे गहन पूछताछ की गई जिसमें उसने बताया कि वह आर्थिक तंगी और काम में घाटा होने के कारण हमेशा अपने परिवार के लोगों के ताने सुनता था। भाई-रिश्तेदार उसको नकारा समझते थे। आए दिन ताने मारते थे। जिस वजह से वह काफी परेशान रहता था।
पत्नी की सहमति पर बनाया था प्लान
पत्नी की सहमति के बाद इस घटना को अंजाम दिया। पहले पत्नी और बच्चों को नींद की गोलियां खिलाईं और उसके बाद उनका गला रस्सी से घोंटकर उनको हमेशा के लिए सुला दिया। खुद भी आत्महत्या करना चाहता था, लेकिन अपनी मौत सामने देखकर मन विचलित हो गया। रेलवे ट्रैक के बीचों-बीच पटरी पर लेटा रहा, इसके बाद पुलिस ने इसको हिरासत में ले लिया था।
अब पढ़िए पूरा मामला...
सर्राफा कारोबारी का नाम मुकेश वर्मा है। मरने वालों में उसकी पत्नी रेखा वर्मा (45), बेटी भव्या (18), बेटी काव्या (16) और बेटा अभिष्ट (14) हैं। मुकेश दिल्ली से सोने की खरीदारी करता है। वह महीने में 8 से 10 दिन घर से बाहर रहता है। ज्वेलरी का सामान थोक व्यापारियों को देता है।
दिल्ली यूनिवर्सिटी में पढ़ती है बड़ी बेटी
बड़ी बेटी भव्या दिल्ली यूनिवर्सिटी से बीकॉम कर रही थी। वहीं, काव्या सोनी 12वीं क्लास की स्टूडेंट थी। मुकेश की दो शादी हुई थी। पहली पत्नी की शादी के दो साल बाद 2005 में मौत हो गई। भव्या पहली पत्नी की बेटी थी। बाकी दोनों बच्चे दूसरी पत्नी रेखा के हैं।
मुकेश ने सोमवार की शाम करीब साढ़े 8 बजे खुद डायल 112 पर सूचना दी। पुलिस को बताया कि पत्नी और बच्चों ने सुसाइड कर लिया है। बेटी के मोबाइल फोन के वॉट्सऐप स्टेटस पर मृतकों की फोटो लगाकर कैप्शन लिखा- ये सब लोग खत्म। इसके बाद मोबाइल बंद कर लिया। सूचना मिलते ही RPF जवान मौके पर पहुंचे। कारोबारी को रेलवे स्टेशन से हिरासत में लिया। सख्ती से पूछताछ की तो उसने जुर्म कबूल कर लिया।
पत्नी, 2 बच्चों की बेड पर, छोटी बेटी की लाश सेकेंड फ्लोर पर मिली
इधर, स्टेटस देखते ही पड़ोसी कारोबारी के घर पहुंच गए। उन्होंने देखा तो घर का दरवाजा बंद था। दरवाजा खटखटाया, तो कोई रिस्पॉन्स नहीं आया। इसके बाद कारोबारी के बड़े भाई एडवोकेट रत्नेश को सूचना दी। थोड़ी देर बाद वह घर पहुंचे। इसके बाद घर का ताला तोड़ा गया।
घर के अंदर नीचे वाले कमरे में बेड पर मुकेश की पत्नी रेखा वर्मा, बड़ी बेटी भव्या वर्मा और छोटे बेटे अभीष्ट के शव पड़े हुए थे। छोटी बेटी का शव सेकेंड फ्लोर पर कमरे में पड़ा था। थोड़ी देर बाद कोतवाली पुलिस भी पहुंच गई। फोरेंसिक टीम को बुलाया और जांच-पड़ताल की।
आपसी सहमति से सुसाइड करने की बात गले नहीं उतर रही
सर्राफा करोबारी मुकेश वर्मा के द्वारा बताया गया कि उसने पत्नी व वच्चों के साथ आपसी सहमति से आत्म हत्या करने की बात कही जा रही है. लेकिन वह लोगों के गले नहीं उतर रही है.
सारा परिवार एक साथ ऐसी बारदात अंजाम देने को कैसे तैयार हो गया? मुकेश वर्मा की दोनों बेटियां पढ़ी लिखी थी इसके अलाबा बेटा भी समझदार था.लोगों का मानना है अगर व्यापार में घाटा होता है तो पूरा परिवार खुदकशी करने को राजी कैसे हो गया.
अक्सर सामने आटा है अगर किसी को व्यापार में घाटा होता भी है तो व्यापरी खुद तो आत्म हत्या कर सकता है लेकिन पूरे परिवार के साथ नहीं.देखा जाय यदि मुकेश वर्मा भी आत्म हत्या करता तो वह भी सबके साथ नींद की गोली खाता.लेकिन उसने ऐसा नहीं किया.लोगों का मानना है कि इस घटना के पीछे कोई गहरा राज है.जिस कारण से उसने पूरे परिवार की हत्या कर दी.यदि पूरे मामले की गहनता से जाँच की जाये तो सारी सच्चाई सामने आ सकती है.
नहीं तो न कोई खाता और न वही, जो मुकेश ने कही वही वात सही।।
एसएसपी इटावा